HNN/ नाहन
2019 में लॉकडाउन से लेकर आज तक समाज सेवक व एंबुलेंस चालक राम सिंह उर्फ रामू समाज सेवा में हीरो साबित हुआ है। आज तक करीब 120 कोरोना अथवा गंभीर बीमारियों से मारे गए लोगों का अंतिम संस्कार भी राम सिंह के द्वारा किया गया है। राम सिंह को उसकी उत्कृष्ट सेवाओं और मानवता के लिए मिसाल पेश करने को लेकर युवा सेवा एवं खेल तथा वन मंत्री राकेश पठानिया के द्वारा गणतंत्र दिवस पर सम्मानित भी किया गया। मानवता और सेवा के लिए प्रेरणा साबित हुए राम सिंह को मंत्री के द्वारा 11000 रूपए नकद धनराशि देकर सम्मानित किया गया।
बड़ी बात तो यह है कि गणतंत्र दिवस के दिन सुबह कोरोना से एक 65 वर्षीय व्यक्ति की मौत हो गई थी। तो वही नाहन में आयोजित गणतंत्र दिवस में सम्मानित करने के लिए निमंत्रण भी दिया गया था। बावजूद इसके राम सिंह पहले मृतक व्यक्ति को पांवटा साहिब के गांव में छोड़ने और संस्कार का कार्य निपटाने के बाद सम्मान समारोह में पहुंचा। बता दें कि कोरोना से मारे गए लोगों के अंतिम संस्कार में अपने भी कई बार मुंह मोड़ लेते हैं। ऐसे में राम सिंह अपनी जान पर खेलकर पीपी किट डालकर शव का संस्कार करवाता है।
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बड़ी बात तो यह भी है राम सिंह को जैसे ही अस्पताल से एंबुलेंस के लिए कॉल आती है तो वह अपना सब काम छोड़ कर मरीज को पीजीआई या आईजीएमसी तक पहुंचाकर ही दम लेता है। राम सिंह के सामाजिक सरोकार यहीं तक ही सीमित नहीं है बल्कि अस्पताल में जिन मरीजों के साथ कोई केयरटेकर नहीं होता है उन मरीजों को अपनी जेब से पैसे खर्च कर दवा और उनके टेस्ट भी करवाता है। राम सिंह के द्वारा लोगों के सहयोग से अस्पताल के बाहर निशुल्क भोजन भी बांटा जाता था।
राम सिंह का कहना है कि दूरदराज क्षेत्रों से गरीब लोग अपने मरीज के साथ मेडिकल कॉलेज आते हैं। राम सिंह ने बताया कि कई ऐसे भी लोग होते हैं जिनके पास खाने के लिए जेब में पैसे भी नहीं होते। ऐसे में राम सिंह खुद अपनी जमा पूंजी और लोगों के सहयोग के साथ सार्वजनिक भोजन भी वितरण करता है। इन दिनों कोरोना के चलते खुले तौर पर भोजन नहीं बांटा जा सकता। ऐसे में राम सिंह पैक्ड फूड आदि भी मरीजों और उनके तीमारदारों तक पहुंचाता है। रामसिंह अब पूरे जिला में चर्चित और परिचित चेहरा है।
नाहन मेडिकल कॉलेज में दूरदराज क्षेत्रों से आने वाले मरीजों को भी अक्सर राम सिंह का इंतजार रहता है। असहाय और निर्धन तमीदारों और मरीजों को अगर रामसिंह अस्पताल में दिख जाए तो बड़ा सहारा नजर आता है। राम सिंह सिख कम्युनिटी से बिलॉन्ग करता है। राम सिंह का कहना है कि असहाय और गरीबों की सेवा करना ही सच्ची पूजा होती है। राम सिंह का यह भी कहना है कि गुरु गोविंद सिंह जी ने सेवा मार्ग को ही सबसे बड़ा धर्म बताया है।
हैरान कर देने वाली बात तो यह है कि राम सिंह की ना तो कोई सरकारी नौकरी है और ना ही वह संपन्न परिवार से संबंध रखता है। बावजूद इसके जो उसको दिहाड़ी मिलती है उसका कुछ हिस्सा मानवता के कार्यों में लगा देता है।
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