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‘ISRO की 10 सेटेलाइट 24 घंटे कर रहीं निगरानी’, पाकिस्तान से विवाद के बीच इसरो के चेयरमैन ने दिया बयान

हिमाचलनाउ डेस्क | 12 मई 2025 at 9:48 am

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इसरो की 10 सेटेलाइट भारत की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए लगातार काम कर रही हैं। ये बयान इसरो के चेयरमैन ने दिया है। उन्होंने पाकिस्तान से तनाव के बीच यह बयान दिया है।

नई दिल्ली: भारत और पाकिस्तान के बीच चल रहे तनाव के बीच इसरो के चेयरमैन का बड़ा बयान सामने आया है। इसरो के चेयरमैन वी नारायणन ने एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि देश के नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए रणनीतिक उद्देश्य से 10 सेटेलाइट चौबीसों घंटे काम कर रही हैं। बता दें कि अगरतला में केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय (CAU) के पांचवें दीक्षांत समारोह में उन्होंने यह बात कही। उन्होंने कहा, “अगर हम अपने देश की सुरक्षा सुनिश्चित करना चाहते हैं, तो हमें अपने उपग्रहों के माध्यम से सेवा करनी होगी। हमें अपने 7,000 किलोमीटर के समुद्री इलाकों की निगरानी करनी है। सैटेलाइट और ड्रोन तकनीक के बिना हम बहुत कुछ हासिल नहीं कर सकते।” 

भारत ने लॉन्च की 127 सेटेलाइट

बता दें कि अब तक इसरो ने कुल 127 भारतीय सेटेलाइट लॉन्च की है। इनमें निजी ऑपरेटरों और शैक्षणिक संस्थानों के सेटेलाइट भी शामिल हैं। इनमें से 22 लो अर्थ ऑर्बिट (LEO) और 29 जियो-सिंक्रोनस अर्थ ऑर्बिट में हैं, जिनका स्वामित्व केंद्र सरकार के पास है। भारत के पास करीब एक दर्जन स्पाई या सर्विलांस उपग्रह हैं। इनमें कार्टोसैट और रीसैट सीरीज के साथ-साथ EMISAT और माइक्रोसैट सीरीज भी शामिल हैं, जिन्हें विशिष्ट निगरानी कार्यों के लिए डिजाइन किया गया है।

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52 सेटेलाइट की जानी हैं लॉन्च

दरअसल, कुछ दिन पहले, भारतीय राष्ट्रीय अंतरिक्ष संवर्धन और प्राधिकरण केंद्र (IN-SPACe) के अध्यक्ष पवन कुमार गोयनका ने वैश्विक अंतरिक्ष अन्वेषण सम्मेलन 2025 में कहा था कि भारत अंतरिक्ष-आधारित निगरानी क्षमताओं को बढ़ाने के लिए अगले पांच वर्षों में 52 उपग्रहों का एक समूह कक्षा में स्थापित करेगा। गोयनका ने कहा, “हमारे पास पहले से ही काफी मजबूत क्षमताएं हैं। बस इसे लगातार बढ़ाने की जरूरत है।” उन्होंने कहा कि इस योजना का उद्देश्य रक्षा क्षेत्र की निगरानी क्षमताओं को बढ़ाना है। उन्होंने कहा, “अब तक यह मुख्य रूप से इसरो द्वारा किया गया था। जैसे-जैसे हम आगे बढ़ेंगे, हम निजी क्षेत्र को भी इसमें शामिल करेंगे।” नए उपग्रह भारतीय सेना, नौसेना और वायु सेना को दुश्मन की गतिविधियों पर नजर रखने, सीमाओं की निगरानी करने और सैन्य अभियानों के दौरान वास्तविक समय के समन्वय में सुधार करने में मदद करेंगे।

आजादी के 100 साल बाद महारथी होगा भारत

नारायणन का बयान ऐसे समय में आया है जब इसरो 18 मई को एक और निगरानी उपग्रह, EOS-09 (RISAT-1B) रडार इमेजिंग सेटेलाइट को सूर्य-तुल्यकालिक कक्षा में लॉन्च करने वाला है, जो भारत की संवेदनशील सीमाओं पर निगरानी शक्तियों को बढ़ावा देगा। उन्होंने कहा कि आम आदमी के विकास के लिए उन्नत उपग्रह प्रौद्योगिकी की आवश्यकता है। नारायणन ने भविष्यवाणी की कि भारत अपनी आजादी के 100 साल पूरे होने से पहले हर क्षेत्र में महारथी बन जाएगा, देश दुनिया के लिए एक उत्कृष्ट योगदानकर्ता बन जाएगा। उन्होंने कहा कि पूर्वोत्तर राज्यों के विकास और क्षेत्र में कई परियोजनाओं के क्रियान्वयन के लिए इसरो और इसके कई उपग्रह चालू हैं। उन्होंने छात्रों से आग्रह किया कि डिग्री लेने के बाद उनकी जिम्मेदारी समाज को कुछ देने की है।

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