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बलबीर चौहान के निष्कासन के बाद श्री रेणुका जी भाजपा अब बिखराव की ओर

Shailesh Saini | 5 नवंबर 2022 at 11:56 pm

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बलबीर समर्थक भाजपा के एक बड़े धड़े में बगावत के बन चुके हैं आसार

HNN/ श्री रेणुका जी

5 साल तक निरंतर संगठन व सरकार के साथ जुड़कर कार्य करने वाले भाजपा से पूर्व प्रत्याशी रहे बलबीर सिंह का पार्टी से निष्कासन कर दिया गया है।

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यह निष्कासन ऐसे वक्त पर हुआ है जिस दौरान श्री रेणुका जी सीट को लेकर सरकार व संगठन की प्रतिष्ठा दांव पर लगी हुई है। बलबीर सिंह चौहान का एक वायरल हुआ ऑडियो क्लिप उनके निष्कासन की बड़ी वजह बना है।

हालांकि यह ऑडियो क्लिप उस दौरान का बताया जा रहा है जब बलबीर का टिकट काटा गया था। बलबीर चौहान को ना केवल कांग्रेस ज्वाइन करने के लिए बल्कि आम आदमी पार्टी की ओर से भी कई ऑफर मिले थे।

बावजूद इसके वह संगठन के साथ निष्ठा के साथ जुड़े रहे। टिकट कटने के गुब्बार के साथ बलबीर के द्वारा एक महिला को भाजपा प्रत्याशी नारायण सिंह के लिए वोट ना देने के लिए कहा जा रहा था। बलबीर चौहान टिकट कटने के बाद अपने घर पर पूरी तरह साइलेंट होकर बैठ गए थे।

वही क्षेत्र में सरकार के माध्यम से करवाए गए कार्यों को लेकर क्षेत्र में उनकी छवि में भी काफी निखार आया था। यही नहीं इस विधानसभा क्षेत्र की अधिकतर जनता बलबीर के साथ जुड़ चुकी थी। सरकारी नौकरी छोड़ने के बाद बलबीर चौहान पार्टी के साथ पूरी निष्ठा के साथ जुड़े रहे।

वही जहां उन्हें मात्र एक ऑडियो के कारण संगठन शो कॉज नोटिस के साथ उन्हें समझा बुझा भी सकता था। मगर चुनावी वक्त के दौरान उनका निष्कासन कहीं ना कहीं अब भाजपा सहित रेणुका जी विधानसभा क्षेत्र से मैदान में उतरे प्रत्याशी के लिए खतरे की घंटी बन गया है।

यहां यह भी बताना जरूरी है कि श्री रेणुका जी भाजपा के अधिकतर कार्यकर्ताओं में नारायण सिंह को लेकर अभी भी काफी नाराजगी बनी हुई है। इसकी बड़ी वजह 5 साल नारायण सिंह की संगठन के प्रति निष्क्रियता बताई जा रही है।

हालांकि करीब दो ढाई साल पहले नारायण सिंह ने भाजपा को ज्वाइन किया था। मगर क्षेत्र व पार्टी के प्रति कोई बड़ा कार्य किया गया हो ऐसा कभी नजर नहीं आया है।

यहां यह भी बताना जरूरी है कि श्री रेणुका जी विधानसभा सीट के लिए पूर्व में विधायक रहे रूप सिंह के अलावा अरुण कुमार आदि भी टिकट की दौड़ में शामिल थे।

यहां एक बात और भी बताना जरूरी है कि बलबीर सिंह 2017 का चुनाव भारी बहुमत के साथ जीत सकते थे। मगर भाजपा से ही बाय इलेक्शन में जीतकर विधायक बने हृदय राम आजाद उम्मीदवार के तौर पर मैदान में उतर गए थे।

जो कि करीब 12000 के लगभग वोट लेने में कामयाब भी हुए थे। अब यदि संगठन उस दौरान भी हृदय राम को किसी तरह से मना पाता तो निश्चित ही बलबीर चौहान भारी मतों से विजय होते। बताया जा रहा है कि हृदय राम को मैदान में उतारने के पीछे भी भाजपा के एक दिग्गज नेता का हाथ रहा था।

बलबीर चौहान के द्वारा इस विधानसभा क्षेत्र में तमाम हुए मुख्यमंत्री के कार्यक्रमों को भी बड़ी सफलता के साथ आयोजित करवाया गया। बरहाल चुनाव के अंतिम दौर में बलबीर चौहान का किया गया निष्कासन अब रेणुका जी विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस प्रत्याशी विनय कुमार के रास्ते आसान करता हुआ नजर आने लग पड़ा है।

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