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अनुराग ठाकुर का सिरमौर दौरा खोल गया भाजपा गुटबाजी की पोल

SAPNA THAKUR | 8 मई 2022 at 4:07 pm

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HNN/ नाहन

चुनावी वर्ष के दौरान अनुराग ठाकुर का सिरमौर दौरा राजनीतिक नजरिए से बड़ा ही अहम साबित हुआ है। हालांकि, अनुराग ठाकुर सिंथेटिक एस्ट्रोटर्फ हॉकी मैदान का शिलान्यास करने पहुंचे थे। मगर राजनीतिक नजरिए से सिरमौर भाजपा की समीकरणों को बिगाड़ गया है। अनुराग ठाकुर के कालाअंब से हिमाचल में प्रवेश करते ही जहां स्थानीय विधायक डॉ. राजीव बिंदल दल बल के साथ स्वागत में खड़े थे तो वही रित्विक होटल के समीप पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल गुट भी अपने दल बल के साथ स्वागत में खड़ा था।

जिसमें दो पूर्व भाजपा मंडल अध्यक्ष, पूर्व जिला परिषद सदस्य, भाजपा नेता, ललित बालियों के पंचायत प्रधान जसवंत, यशपाल सिंह, पालू और इन सब में प्रमुख विनोज शर्मा सहित दर्जनों लोग खड़े थे। यही नहीं भाजपा के कर्मठ कार्यकर्ता व पदाधिकारी रहे सौरभ ठाकुर भी हाथ में माला लिए बिंदल गुट से अलग नजर आए। ऐसे बहुत से चेहरे हैं जो कभी भाजपा के प्रमुख चेहरे माने जाते थे। यहां यह भी बता दे कि जिस धूमल गुट की बात की जा रही है वह एंटी जयराम ठाकुर नहीं है बल्कि एंटी बिंदल माना जाता है।

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मजे की बात तो यह है कि केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर जब यहां पर स्वागत के लिए रुके तो उनके चेहरे पर अपनापन भी नजर आ रहा था। अनुराग ठाकुर के दौरे से एक बात तो स्पष्ट हो चुकी है कि चुनावी वर्ष में जहां संगठन की कमांड जेपी नड्डा सहित अमित शाह को संभालनी होगी तो प्रदेश में भाजपा का ब्रांड चेहरा मौजूदा मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर को ही बनाना होगा। अब यदि केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर अथवा पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल जब-जब जनता के बीच जाएंगे भाजपा की गुटबाजी खुलकर सामने नजर जरूर आएगी।

बड़ी बात तो यह है कि प्रदेश में आज भी पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल का गुट पूरी तरह से सक्रिय है। जिनका हर व्यक्ति प्रोफेसर प्रेम कुमार धूमल में अपनी आस्था रखता है। बदलते वक्त के साथ संगठन की घुट्टी पीकर भले ही धूमल गुट बगावती तेवर में नहीं है। मगर यह भी सच है चेहरा और तवज्जो के हिसाब से बेरुखी भी नतीजे बिगाड़ने में पीछे नहीं रह सकती। बता दें कि यही हाल नाहन विधानसभा क्षेत्र के साथ-साथ जिला के 2 विधानसभा क्षेत्रों में भी है मगर उसका इतना असर नहीं है।

तो वही सोलन जिला में बिल्कुल नाहन वाली स्थिति बनी हुई है। जिसका नतीजा हाल ही में हुए बाय इलेक्शन में साफ देखा गया था। यहां यह भी बताना जरूरी है कि एंटी बिंदल भाजपा लॉबी पूरी तरह से सक्रिय है। लगातार डिनर डिप्लोमेसी के बहाने 2022 की रणनीतियां बन रही है। ऐसे में नाहन विधानसभा क्षेत्र में भावी प्रत्याशी के कितने समीकरण बनते और बिगड़ते हैं यह तो भावी प्रत्याशी के चेहरे से ही स्पष्ट हो पाएगा।

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