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नशे से मुक्ति के उपायों पर कसौली में जुटे 200 से अधिक मनोरोग विशेषज्ञ

हिमांचलनाउ डेस्क नाहन | 10 फ़रवरी 2025 at 11:51 am

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Himachalnow / सोलन

डॉ. वी. के. शर्मा बोले – सरकार को समझनी होगी चिकित्सकों की परेशानियां

नशे की समस्या से मरीजों को कैसे मुक्ति दिलाई जाए, इस विषय पर दो दिवसीय मनोचिकित्सा सम्मेलन का आयोजन कसौली में किया गया। इस सम्मेलन में हरियाणा, चंडीगढ़ और पंजाब के 200 से अधिक मनोरोग विशेषज्ञों ने भाग लिया।

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इस आयोजन की अगुवाई अंबाला के प्रसिद्ध मनोरोग चिकित्सकों द्वारा की गई, जिसमें डॉ. बी. के. शर्मा (श्रीकृष्ण अस्पताल), डॉ. अमित नैयर (नैयर अस्पताल), डॉ. राजेश गुप्ता (पटनायक अस्पताल) और डॉ. अनिरुद्ध भूषण (भूषण अस्पताल, नारायणगढ़) मुख्य रूप से शामिल रहे।

मानसिक रोगों के उपचार पर विशेषज्ञों ने साझा किए शोध

सम्मेलन में मानसिक रोगों के सर्वोत्तम उपचारों पर विशेषज्ञों ने अपने शोध प्रस्तुत किए। डॉक्टरों ने बताया कि मरीजों का इलाज करते समय कई नैतिक और कानूनी समस्याएं भी उत्पन्न होती हैं। इस पर डॉ. वी. के. शर्मा ने कहा कि मनोरोग विशेषज्ञों की प्राथमिकता यह होनी चाहिए कि मरीज को एक बेहतर जीवन मिले और उसे नशे से पूरी तरह मुक्ति दिलाई जा सके।

मानसिक स्वास्थ्य और नशा मुक्ति के प्रयास

चिकित्सा विशेषज्ञों ने बताया कि मानसिक स्वास्थ्य का मतलब सिर्फ दिमागी शांति नहीं है, बल्कि इसमें व्यक्ति की विचारधारा, भावनाएं और व्यवहार भी शामिल होते हैं। यह सुनिश्चित करना आवश्यक है कि नशा मुक्ति के लिए काम करने वाले डॉक्टरों को सरकार का सहयोग मिले, न कि अनावश्यक परेशान किया जाए।

सम्मेलन में इस बात पर भी जोर दिया गया कि सरकार और चिकित्सकों को मिलकर इस दिशा में ठोस कार्ययोजना तैयार करनी चाहिए।

बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य पर गंभीर चर्चा

बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य को लेकर भी विशेषज्ञों ने अपने विचार साझा किए। डॉ. शर्मा और डॉ. नैयर ने बताया कि बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए सही समय पर उपचार और उचित मार्गदर्शन आवश्यक है।

वहीं, डॉ. अनिरुद्ध भूषण और डॉ. राजेश गुप्ता ने यह भी बताया कि मानसिक स्वास्थ्य को संतुलित बनाए रखने के लिए व्यक्ति को अपनी भावनाओं, विचारों और व्यवहारों को नियंत्रित करना आना चाहिए।

सम्मेलन में उठे महत्वपूर्ण मुद्दे

इस आयोजन में मनोरोग विशेषज्ञों ने कई अहम मुद्दों पर विचार-विमर्श किया। इनमें एक्स्ट्रा मैरिटल अफेयर्स, नशे की लत से जूझ रहे मरीजों को सही मार्गदर्शन, डॉक्टरों के बीच भय का माहौल और सरकार द्वारा चिकित्सकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने जैसे विषय शामिल थे।

हरियाणा की प्राइवेट साइकिएट्रिस्ट टीम का अहम योगदान

यह सम्मेलन अंबाला की मनोरोग विशेषज्ञ टीम द्वारा आयोजित किया गया था। इसमें डॉ. मृगुश कुमार विशेष रूप से उपस्थित रहे। उन्होंने बताया कि पिछले चार वर्षों से हरियाणा के प्राइवेट मनोरोग विशेषज्ञ लगातार इस तरह के सम्मेलनों का आयोजन कर रहे हैं।

सम्मेलन के समापन पर सभी डॉक्टरों ने अंबाला टीम का आभार व्यक्त किया और इस आयोजन की सफलता के लिए धन्यवाद दिया।

इस अवसर पर कई वरिष्ठ मनोरोग विशेषज्ञ भी उपस्थित रहे, जिनमें डॉ. मृगेश (अध्यक्ष, प्राइवेट साइकिएट्रिस्ट एसोसिएशन, भारत), डॉ. राजीव गुप्ता (PGI रोहतक, मनोविज्ञान विभागाध्यक्ष), डॉ. डी. डी. शर्मा (शिमला मेडिकल कॉलेज, विभागाध्यक्ष), डॉ. अतुल अंबेकर (AIIMS दिल्ली, नशा मुक्ति विभागाध्यक्ष), डॉ. अखिलेश शर्मा (बाल मनोचिकित्सा विभाग, PGI चंडीगढ़), डॉ. असीम मेहरा (PGI चंडीगढ़) सहित कई अन्य विशेषज्ञ शामिल रहे।

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