एनएसयूआई जिला अध्यक्ष ने प्रिंसिपल को बताया भाजपा का प्रचारक, उच्च न्यायालय के प्रतिबंध के बावजूद सांसद और जिला अध्यक्ष पहुंचे थे एबीवीपी के कार्यक्रम में
HNN News नाहन
डॉ यशवंत सिंह परमार पीजी कॉलेज नाहन के प्रिंसिपल प्रेम भारद्वाज ने एबीवीपी पर कॉलेज पर कब्जा कर राजनीतिक गतिविधि चलने का आरोप लगा दिया है। यही नहीं प्रिंसिपल के द्वारा फ्रेशर पार्टी के लिए एबीवीपी की ओर से परमिशन की मांग करने वाले छात्रों के खिलाफ फिर भी दर्ज करवा दी गई है।
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चलिए अब इस उपजे बड़े विवाद को लेकर सिलसिले बार घटनाक्रम की जानकारी भी आपको देते हैं। असल में हुआ यूं कि डॉ यशवंत सिंह परमार पोस्ट ग्रेजुएट कॉलेज यशवंत विहार के कॉलेज प्रांगण में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद नाहन इकाई के द्वारा 6 अक्टूबर को फाइनेंसर पार्टी के लिए परमिशन मांगी गई।
यही नहीं बताया गया कि इस फ्रेशर पार्टी में चीफ गेस्ट सांसद सुरेश कश्यप तथा जिला सिरमौर भाजपा अध्यक्ष विनय गुप्ता सहित कई भाजपा नेताओं को निमंत्रण दिया गया था। इस बाबत जब हमने प्रिंसिपल से बात करी तो उन्होंने बताया कि एबीवीपी के प्रतिनिधि 29 सितंबर को जब परमिशन लेने के लिए आए थे तो मैंने उन्हें हाई कोर्ट के दिशा निर्देशों का हवाला देते हुए परमिशन देने से साफ मना कर दिया था।
उन्होंने कहा कि मैंने 29 सितंबर को ही जिलाधीश और एसपी सिरमौर को लेटर लिखकर सूचित भी कर दिया था। प्रिंसिपल प्रेम भारद्वाज का कहना है कि इसी दौरान उन्हें दो दिन के लिए मेडिकल चेकअप कराने के लिए चंडीगढ़ जाना पड़ा। प्रिंसिपल महोदय का आरोप है कि 6 अक्टूबर को उन्हें जानकारी मिली कि एबीवीपी कॉलेज में तंबू आदि गाड रहे हैं।
प्रिंसिपल प्रेम भारद्वाज का कहना है कि 6 तारीख को उनके द्वारा फिर से सो नाहन सदर को तुरंत कार्रवाई का हवाला देते हुए कानून व्यवस्था के लिए जल्द से जल्द कॉलेज पहुंचने को कहा। उन्होंने बताया कि ना तो पुलिस प्रशासन की ओर से और ना ही जिला प्रशासन की ओर से कॉलेज प्रबंधन की कोई सहायता की गई।
प्रिंसिपल का कहना है कि किसी अनहोनी अथवा उपद्रव आदि के डर से पूरा कॉलेज का स्टाफ डरा और सहमा रहा। उन्होंने यह भी स्पष्ट कर दिया कि उन पर मिली भगत के लगाए जा रहे हैं आप बिल्कुल बे बुनियाद हैं। उन्होंने कहा कि इसकी तमाम जिम्मेदारी पुलिस और प्रशासन की है जिन्होंने इनफॉरमेशन दिए जाने के बावजूद भी कॉलेज को सुरक्षा प्रदान नहीं की।
उधर एनएसयूआई जिला अध्यक्ष विपुल शर्मा ने प्रिंसिपल पर भाजपा का प्रचारक होने का आरोप भी लगाया है। विपुल ने कहा कि जब उन्हें मालूम था की 29 सितंबर को सूचना दिए जाने के बावजूद भी पुलिस की ओर से कोई संतोषजनक जवाब नहीं मिला था तो 2 दिन की छुट्टी कार्यक्रम के दौरान ही लिए जाने का क्या औचित्य था।
उन्होंने कहा कि एनएसयूआई शिष्टाचार और कानून का सम्मान करना जानती है इसीलिए हमने अपना कार्यक्रम माननीय उच्च न्यायालय के दिशा निर्देशों के अनुसार कॉलेज कैंपस में ना कर नाहन के किसान भवन में करवाया था। उन्होंने कहा कि 2024 के चुनाव नजदीक हैं जिसके चलते भाजपा छात्रों के माध्यम से अपना चुनाव प्रचार कर रही है। उन्होंने कहा इस पूरे प्रकरण की सरकार के द्वारा उच्च से उच्च जांच होनी चाहिए और दोषियों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई अमल में लाई जानी चाहिए।
बरहाल कॉलेज कैंपस में एबीवीपी के द्वारा करवाया गया कार्यक्रम अब एक बड़े विवाद का रूप ले चुका है। मामला इसलिए भी गंभीर है क्योंकि कॉलेज के प्रिंसिपल के द्वारा जिला प्रशासन और पुलिस पर गंभीर आरोप लगाए गए हैं साथ ही जिस तरीके से कॉलेज पर उन्होंने कब्जे की बात कही है उससे कल कोई बड़ी वारदात कॉलेज में हो जाए उससे भी इनकार नहीं किया जा सकता है।
उधर इस बाबत जिला सिरमौर पुलिस कप्तान रमन कुमार मीणा का कहना है कि कॉलेज की तमाम प्रशासनिक व्यवस्था की जिम्मेवारी होती है। मामले में जो भी कानूनी पहलू होगा उसके अनुसार मामले को देखा जाएग। पुलि
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