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✨ भारत के लिए बड़ा अवसर: अमेरिकी टैरिफ से जेनेरिक दवाओं को राहत! ✨

Shailesh Saini | 27 सितंबर 2025 at 6:18 am

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हिमाचल नाऊ न्यूज़ नई दिल्ली:

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा 1 अक्टूबर से ब्रांडेड और पेटेंटेड दवाओं पर 100% टैरिफ लगाने के हालिया एलान को भारतीय फार्मा सेक्टर के लिए एक बड़ा अवसर माना जा रहा है।

इस घोषणा में सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि जेनेरिक दवाओं को इस भारी-भरकम टैरिफ से पूरी तरह बाहर रखा गया है।

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🇮🇳 जेनेरिक दवाओं का किंग है भारत

यह फैसला भारत के लिए एक वरदान साबित हो सकता है, जो जेनेरिक दवाओं का दुनिया में सबसे बड़ा निर्यातक है। * बड़ी राहत: चूंकि ट्रंप का 100% टैरिफ विशेष रूप से ब्रांडेड और पेटेंटेड फार्मा उत्पादों पर केंद्रित है, इसलिए भारत के मुख्य एक्सपोर्ट, यानी सस्ती जेनेरिक दवाएं, इस टैक्स वृद्धि से अप्रभावित रहेंगी।

बाजार पर मजबूत पकड़:

भारत अमेरिका को जेनेरिक दवाइयाँ सप्लाई करने वाला सबसे बड़ा देश है, जो अमेरिका की एक-तिहाई से अधिक खपत को पूरा करता है। 2024 में भारत ने अमेरिका को लगभग $8.73 अरब (लगभग 77 हजार करोड़ रुपये) की दवाइयाँ निर्यात कीं। इस टैरिफ छूट से भारतीय जेनेरिक दवाओं की बाजार में प्रतिस्पर्द्धा और मजबूत होने की संभावना है।

रणनीतिक बढ़त:

जियोजित इनवेस्टमेंट्स लिमिटेड के वीके विजय कुमार के अनुसार, भारत को इस कदम से ज्यादा असर नहीं होगा, बल्कि यह जेनेरिक सेगमेंट में भारत की रणनीतिक बढ़त को और पुख्ता करेगा।

🏭 ‘मेक इन अमेरिका’ की शर्त भी भारत के पक्ष में!

राष्ट्रपति ट्रंप ने यह भी कहा है कि जो कंपनियां अमेरिका में अपना फार्मास्यूटिकल मैन्युफैक्चरिंग प्लांट लगाएंगी, उन्हें भी इस टैरिफ से छूट मिलेगी। यह शर्त भारत की बड़ी फार्मा कंपनियों को अमेरिका में नए प्लांट लगाने और सीधे अमेरिकी बाजार में प्रवेश करने का एक प्रोत्साहन दे सकती है, जिससे भारतीय कंपनियों के लिए वैश्विक विस्तार के नए रास्ते खुलेंगे।

🔎 भारत सरकार की पैनी नजरइस एलान के बाद, भारत के विदेश मंत्रालय ने तुरंत प्रतिक्रिया दी है। मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने बताया कि भारत इस मामले पर लगातार बारीकी से निगरानी रख रहा है और संबंधित मंत्रालय इसके संभावित सकारात्मक प्रभाव का अध्ययन कर रहे हैं। भारत सरकार पूरी तरह से तैयार है कि वह भारतीय दवा कंपनियों के हितों की रक्षा करे और इस वैश्विक घटनाक्रम का अधिकतम लाभ उठा सके।

संक्षेप में, अमेरिकी टैरिफ से जेनेरिक दवाओं को मिली छूट भारतीय फार्मा सेक्टर के लिए न सिर्फ राहत लेकर आई है, बल्कि यह अमेरिकी बाजार में अपनी स्थिति को और मजबूत करने का एक शानदार मौका भी है!

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