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Exclusive Report By: Shailesh Saini

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प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने में हिमाचल बना अग्रणी, ऊना में किसानों से 26 लाख की प्राकृतिक गेहूं खरीदी

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ऊना/वीरेंद्र बन्याल

425 क्विंटल प्राकृतिक गेहूं की खरीद प्रक्रिया पूरी, 60 रुपये प्रति किलो का समर्थन मूल्य

मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू के नेतृत्व में हिमाचल प्रदेश प्राकृतिक खेती को प्रोत्साहित करने में देश के अग्रणी राज्यों में उभर रहा है। इसी दिशा में जिला ऊना की टकारला और रामपुर अनाज मंडियों में प्राकृतिक विधि से उत्पादित गेहूं की खरीद सफलता पूर्वक पूरी कर ली गई है।

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किसानों से खरीदी गई 425 क्विंटल गेहूं
आत्मा परियोजना ऊना के परियोजना निदेशक वीरेंद्र बग्गा ने बताया कि टकारला मंडी में 24 किसानों से 232.678 क्विंटल और रामपुर मंडी में 17 किसानों से 193.14 क्विंटल प्राकृतिक गेहूं खरीदी गई है। कुल 41 किसानों से 425.818 क्विंटल गेहूं की खरीद की गई, जिसकी कुल कीमत 26,40,071 रुपये निर्धारित हुई है। यह राशि शीघ्र ही किसानों के खातों में डीबीटी के माध्यम से ट्रांसफर की जाएगी।

60 रुपये प्रति किलो समर्थन मूल्य, 2 रुपये परिवहन शुल्क
बग्गा ने बताया कि प्रदेश सरकार ने प्राकृतिक गेहूं के लिए 60 रुपये प्रति किलो का समर्थन मूल्य और 2 रुपये प्रति किलो परिवहन शुल्क तय किया है। हिमाचल प्रदेश ऐसा पहला राज्य है जिसने गेहूं की खरीद में न्यूनतम समर्थन मूल्य के साथ परिवहन शुल्क भी देने की पहल की है।

ऊना में 16 हजार किसान प्राकृतिक खेती से जुड़े
ऊना जिले में वर्तमान में करीब 16,000 किसान प्राकृतिक खेती से जुड़े हैं और लगभग 2,000 हेक्टेयर भूमि पर रसायन मुक्त खेती कर रहे हैं। किसान पांच किस्मों की गेहूं का उत्पादन प्राकृतिक विधि से कर रहे हैं, जिससे न केवल पर्यावरण की रक्षा हो रही है बल्कि किसानों की आय भी लगातार बढ़ रही है।

किसानों में उत्साह, नई प्रेरणा बनी सरकार की नीति
प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने और उत्पाद का उचित मूल्य दिलाने की राज्य सरकार की इस पहल से किसान बेहद उत्साहित हैं। इससे अन्य किसान भी इस पद्धति की ओर आकर्षित हो रहे हैं। मुख्यमंत्री सुक्खू की दूरदर्शी सोच से यह प्रयास एक अनुकरणीय मॉडल बनता जा रहा है।

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